झूठ बोलने की हद कर दी कभी दिखाओ सच्चे बनकर.
बच्चा! बचपन में मिटटी का, होता सत्य, घड़ा है कच्चा
चाहे जो रंग रूप निखारो, झूठा या कि बनाओ सच्चा
मार पीट से बच्चे केवल क्रोधी, जिद्दी हो जाते हैं
वही सीखते काम नित्य जो बड़े स्वयं कर दिखलाते हैं.
बड़े नकलची नटखट होते काम गलत मत कर दिखलाना
वरना ये हठवादी बनते काम सदा करते मनमाना
लालन पालन लाड प्यार से करना जितना किन्तु ज़रूरी
पढने लिखने जब जाएँ दो दंड अगर ऐसी मजबूरी .
बच्चे तो बच्चे हैं बढ़कर, बड़े एक दिन हो जायेंगे
इनमें सुमन सुगंध भरे यदि , सदा बड़ों के गुण गायेंगे
बढ़ते जायेंगे ये जितना, होंगे आज्ञाकारी बच्चे
सदगुण उपजाओगे यदि तो होंगे पर उपकारी बच्चे .
कल के भारत का भविष्य बच्चे हर लेंगे क्लेश हमारा
बच्चे बड़े समर्थ बने यदि संवरेगा यह देश हमारा
अच्छे हों बच्चे जीवन में स्वयं दिखाओ बच्चे बनकर
बड़े हुए पल चार बिताओ बच्चों के संग बच्चे बनकर.
2 comments:
बहुत बढ़िया.
kumaar ji bahut sundar co
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