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Saturday, October 15, 2011

प्रभु चन्द्र दें वरदान करूँ दिव्य आरती

  करवा चौथ के विश्वास व्रत के नाम नारियों का पैगाम =======

                  वो!  चाँद, अगर देख लेगा, मेरा  चन्द्रमा !
                 
                सोंचेगा प्रभु !मिली मुझे ये कैसी कालिमा !
           
                बन्धन ये प्यार का पिया से आर- पार का -

                भगवान्! नाथ! मैं हूँ, रमा जैसी प्रियतमा  !!

             वरदान  प्रभु   का नाथ ये विश्वास का बन्धन    !
            दीपक  ! नयन के नाथ ,व्रत ये आस का वन्दन  !!
             रखवाले , विनायक हैं सुख के , माता  भारती !
              प्रभु चन्द्र ! दें वरदान , करूँ दिव्य  आरती    !!!


   



        

3 comments:

रविकर said...

अर्पित चरणों में करूँ , दो दोहे श्रीमान |
माता के सम्मान में, मैं अबोध इंसान ||

कर करवल करवा सजा, कर सोलह श्रृंगार |
माँ-गौरी आशीष दे, सदा बढ़े शुभ प्यार ||

http://neemnimbouri.blogspot.com/2011/10/blog-post_15.html

virendra said...

priy ravikar jaisaa suhrid

tippad kartaa kaun //

srijan suhrid kaa dekhkar

pal bhar rahe na maun //

pal bhar rahe na maun

chale din-raat lekhnee ,

baat -baat men kare

hawaa se baat lekhnee ///

vandana gupta said...

बहुत सुन्दर प्रस्तुति।